Sunday 6 May 2018

नहीं रहे ‘३ के’ फिल्मों के अर्जुन हिंगोरानी

बतौर निर्माता निर्देशक अर्जुन हिंगोरानी की खासियत यह थी कि उनकी फिल्मों का टाइटल अंग्रेजी के अक्षर केसे शुरू होता था और उसमे 'के' से शुरू होने वाले तीन शब्द इस्तेमाल होते थे ।

अर्जुन की फिल्मों के एक दूसरी बड़ी खासियत यह थी कि उनकी ज़्यादातर फिल्मों के नायक धर्मेन्द्र हुआ करते थे ।

धर्मेन्द्र तो १४ अगस्त १९६६ को रिलीज़ फिल्म फूल और पत्थर के शाका के किरदार से बॉलीवुड के ही-मैन बन गए ।

लेकिन, इससे छः साल पहले, इस ही-मैन का बॉलीवुड से पहला परिचय अर्जुन हिंगोरानी ने ही फिल्म दिल भी तेरा हम भी तेरे से कराया था ।

इस फिल्म का निर्माण बिहारी मसंद ने कँवर कला मंदिर के अंतर्गत किया था । लेकिन, फिल्म के निर्देशक अर्जुन हिंगोरानी ही थे । उन्होंने, धर्मेन्द्र को बलराज साहनी के साथ महत्वपूर्ण भूमिका में ले लिया । अब यह बात दीगर है कि फिल्म फ्लॉप हुई ।

लेकिन, इस फिल्म के बाद धर्मेन्द्र ने अपनी पहचाना बना ली थी ।

अर्जुन हिंगोरानी ने इस फिल्म से पहले, फिल्म दिवाली की रात का भी निर्देशन किया था ।

१९७० से, अर्जुन हिंगोरानी की धर्मेन्द्र के साथ के-सीरीज की फिल्मों का सिलसिला शुरू होता है । 

अर्जुन हिंगोरानी ने बतौर निर्माता और निर्देशक पहली फिल्म कब क्यों और कहाँ का निर्माण किया था । इस फिल्म में धर्मेन्द्र और बबिता की जोड़ी बनाई गई थी । इस पहली ट्रिपल के फिल्म को बड़ी सफलता मिली ।

इस फिल्म के बाद अर्जुन हिंगोरानी ने कहानी किस्मत की, खेल खिलाडी का, कातिलों के कातिल और कौन करें क़ुरबानी का निर्माण किया ।

अर्जुन हिंगोरानी ने, कातिलों के कातिल और कौन करे क़ुरबानी के बीच धर्मेन्द्र और उनके बेटे सनी देओल, श्रीदेवी, जूही चावला और शशि कपूर के बेटे करण कपूर के साथ बड़े बजट की फिल्म सल्तनत का निर्माण किया था । लेकिन, बिना केअक्षर के टाइटल वाली इस महँगी फिल्म को बॉक्स ऑफिस महंगा पडा । फिल्म बुरी तरह से फ्लॉप हुई ।

इस असफलता के बाद, अर्जुन ने केवल दो फ़िल्में कौन करे क़ुरबानी और कैसे कहूं के...प्यार है का ही निर्माण किया ।

अपनी आखिरी फिल्म कैसे कहूं कि प्यार है के ज़रिये अर्जुन हिंगोरानी ने अपने बेटे अमित हिंगोरानी को नायक बनाने की कोशिश की । लेकिन, यह फिल्म भी बुरी तरह से असफल हुई ।

उन्होंने, १९८५ में रिलीज़ फिल्म करिश्मा कुदरत का के निर्देशन का जिम्मा अपने भतीजे सुनील हिंगोरानी को सौंपा था।

सस्पेंस, थ्रिल और अपराध वाली हिट संगीतमय फिल्म बनाने वाले अर्जुन हिंगोरानी को उनके साथ अपनी फोटो शेयर करते हुए, धर्मेन्द्र ने श्रद्धांजलि देते हुए लिखा, अर्जुन हिंगोरानी, जिन्होंने, जब मैं मुंबई में अकेला था, मेरे कन्धों पर हाथ रखा...हमें हमेशा के लिए छोड़ गए....मैं बहुत दुखी हूँ । ईश्वर उनकी आत्मा को शांति दे ।


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